रमन सरकार करिस 300 करोड़ के तेंदूपत्ता घोटाला, ये कहिना हे कांग्रेस के
रायपुर। प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष भूपेश बघेल राज्य म तेंदूपत्ता घोटाला के खुलासा करिस हे। पत्रकार मन ले चरचा करे दउरान बघेल ह कछु दस्तावेज प्रस्तुत करिस हे, जेमा तेंदूपत्ता के गड़बड़ी के जानकारी हवय। बघेल के आरोप हवय कि तेंदूपत्ता म घोटाला कर सरकार चुनाव म खर्च करही। जेमा के अस्सी फीसदी राशि माओवादी मन ल लेवी के रूप म दे जाही। प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष के संग उप नेता प्रतिपक्ष कवासी लखमा, विधायक मोहन मरकाम घलो रहिन हे।
कांग्रेस भवन म गुरुवार के पत्रकार मन ले चरचा करत हुए बघेल ह आरोप लगाइस कि सरकार जान-बूझके कम रकम भरइया मन ल टेंडर देथे। एखर फायदा व्यापारी मन ल मिलत हवय। ये काम बर व्यापारी मन सरकार ल पइसा देथे। 2013 ले अब तक कम रकम भरइया ल ही टेंडर दिए गेहे। ये सब्बों चुनावी चंदा बर सरकार करत हवय। बघेल ह आरोप लगाइस कि सरकार तेंदूपत्ता संग्राहक मन के हक ल छीनत हवय। तेंदूपत्ता म ये भी गड़बड़ी हे कि आज तक कोनो फिक्स रेट तय नइ करे गेहे। उल्टा अलग-अलग रेट तय करे जाथे। बघेल ह ये आरोप मन के संग राज्य सरकार के चुनावी मैनेजमेंट उपर घलो सवालिया निशान लगाइस हे।
प्रदेश अध्यक्ष कहिन कि 34.06 प्रतिशत के नुकसान होय हे। अउ तकनीकी रूप ले गड़बड़ी होइस हे। आरोप लगाइस कि 51 से 52 प्रतिशत बोली नीचे गेहे अउ कारोबारी मन तेंदूपत्ता ल ऊंचा दाम म बेचे हे। भूपेश ह कहिन कि सरकार ह जानबूझके चुनावी साल म तेंदूपत्ता म टेंडर कम दाम म बुलाय हवय। उमन कहिस कि 2013 म घलो कम दाम म टेंडर बुलाके कारोबारी मन ल सरकार ह लाभ पहुंचाइस हे। 2013 म करीब 300 करोड़ रुपिया के नुकसान तेंदूपत्ता फेडरेशन ल होइस हे। भूपेश बघेल के आरोप हवय कि सरकार हर चुनावी वर्ष म कारोबारी मन के जरिए येही तरह के घोटाला करत हे। श्री बघेल ह कहिस कि सरकार ल नक्सली मन तरफ ले कोनो खतरा नइए। सरकार नक्सली मन ल पइसा पहुंचावत रहही । रमन सिंह नक्सली मन के संग मिलके बस्तर के चुनाव जीतना चाहत हे।
विधायक मोहन मरकाम ह आरोप लगात हुए कहिस कि 2003-2008 म केंद्रीय गृह मंत्री बस्तर म आके बैठ गे रिहिस हे। उपनेता प्रतिपक्ष कवासी लखमा ह कहिस कि 2001 म दंतेवाड़ा म कच्चा पत्ता के नाम म पहिली खरीदी होइस। शिशुपाल सोरी ह कहिस कि स्वतंत्र रूप ले नीलामी नइ होवत हे । एमा एक सिंडिकेट काम करत हवय। प्रदेश म 14 लाख तेंदूपत्ता संग्राहक हे । बोनस के रूप म जो राशि संग्राहक मन ल मिलत हे , वो सरकार अउ ठेकेदार मन के पास जावत हवय। नेता मन कहिन कि कांग्रेस के मांग हे कि नीलामी ल रद्द करे जाए अउ ये मामला के उच्चस्तरीय जांच करे जाए।