अब कैदी मन न पथरा तोड़े, न जांता दरे, खाली जेल के रोटी खा के भोगावत हे,
रायपुर।जेल के नाव सुनके ही एक तरफ जउन कैदी मन के हालत पस्त हो जाथे, त उहें दूसर तरफ प्रदेस के जेल के रोटी खाके कैदी मन म मोट्ठा तगड़ा हो गए हे। एकर खुलासा जेल मेडिकल बोर्ड के रिपोर्ट म होइस हे। जेल डीआईजी के.के. गुप्ता के मानें त पहिली के जइसन अब कैदी मन न त जेल म चक्की पीसत हे, अऊ न ही पथरा तोड़त हे। इही कारन हे कि आराम दायक काम कैदी मन के द्वारा करे जात हे, जेकर ले ओमन के कैलोरी बर्न होए के बजाए बाढ़त जात हे। जेल प्रबंधन के अनुसार खाना म कैदी मन ल चाय-नास्ता के संग हलुआ, गुड, चना खवाए जात हे, एकर ले कैदी मन हट्टा कट्टा हो गिन हे। कैदी मन ल 1800 कैलोरी के डायट दे जात हे जेकर ले देखे जाए त प्रदेस के लगभग जम्मो जेल म कैदी मन के वजन म 5 ले 7 किलो तक के बढ़त होइस हे।