आक्सीटोसिन के दुरुपयोग करइया मन ल झटका….
रायपुर। आक्सीटोसिन के दुरुपयोग ल देखत हुए 1 जुलाई 2018 ले छत्तीसगढ़ म ये दवा के उत्पादन ले लेके रिटेल बिक्री म रोक लगा दे गेहे। सरकार के ये बात के अंदेशा हे कि बैन लगाय ले येकर अवैध कारोबार सुरू हो सकत हे। येखर सेती सरकार ह येकर आयात अउ घरेलू उपयोग बर उत्पादन घलो प्रतिबंधित कर दिस हे।
ड्रग कंट्रोलर्स के सिकायत रहिस हे के दुधारू पशुमन ले जादा दूध निकाले संग ही सब्जी मन ल रातों रात बड़ करे बर येकर उपयोग करे जात हे। छत्तीसगढ़ म येकर इस्तेमाल के सिकायत मन मिलत रहीस हे। प्रतिबंध के बाद लोगन के स्वास्थ्य ले खिलवाड़ करइसा म ल ये रसायन के उपयोग म अंकुश लगाय जा सकेही।
आक्सीटोसिन के जादा उपयोग उमन गाय या भैंस म करय जेकर बच्चा पइदा होय के कुछु दिन बाद मर जाय। येकर अलावा मनचाहा समय म दूध निकाले बर घलो ये इंजेक्शन के उपयोग करत रहिन हे।
ऑक्सीटोसिन एक हार्मोन हे। किसान सब्जी मन ल बड़ा करे म अउ दुग्ध पालक गाय अउ भैंस ले जादा दूध निकाले बर येकर उपयोग करत हे। यदि ये तरह के दूध अउ सब्जी ल लड़का खात हे त ये एक हार्मोन हे येकर सेती सरीर के अंदर ये हार्मोनल संतुलन ल घलो बिगाड़ के काम करत हे। फएर येकर इलाज बर घलो दूसरा हार्मोन देय जात हे, लेकिन डोज सटीक न होय म फेर वो ह हार्मोनल डिसआर्डर पइदा करत हे।
ऑक्सीटोसियुक्त खाद्य पदार्थ मन के इस्तेमाल ले एलर्जी हो सकत हे। सरीर म दाने निकले के संग ही चेहरे या जीभ म सूजन अउ चक्कर आय के समस्या घलो हो सकत हे। येकरे संगे संग सांस ले म परेसनी, महिला मन म असामान्य ब्लीडिंग अउ माहवारी रुके के घलो समस्या हो सकत हे।
ऑक्सीटोसिन के इस्तेमाल प्रसव के दउरान यूटरस ल सिकोड़ने के लिए करे जात हे, ताकि प्रसव आसानी ले हो सक। प्रसव के बाद दूध के मात्रा बढ़ाय बर घलो येकर इस्तेमाल करे जात हे। संग ही प्रसव के बाद ब्लीडिंग रोके बर ये उपयोगी होथे।